इंदौर में थाने स्तर पर साइबर हेल्प डेस्क का गठन, अब साइबर क्राइम की हर थाने पर होगी सुनवाई 

प्रत्येक थाने पर हेड कांस्टेबल को नियुक्त किया गया, पिन कोड के माध्यम से फरियादी अपनी शिकायत चेक कर सकेंगे

थाने पर ही फरियादी को राहत पहुंचाने का सराहनीय कदम, जोन- 2 के डीसीपी अभिनव विश्वकर्मा द्वारा गठित हुआ यह हेल्प डेस्क

इंदौर में बढ़ते साइबर क्राइम को लेकर डीसीपी जोन- 2 द्वारा प्रत्येक थाने पर साइबर क्राइम हेल्प डेस्क का गठन किया गया है और इसके लिए एक हेड कांस्टेबल प्रत्येक थाने पर नियुक्त किया गया। ताकि साइबर अपराधों की जांच पड़ताल बारीकी से की जा सके, तो वहीं फरियादियों को भी राहत पहुंचाई जा सके। इंदौर पुलिस द्वारा साइबर हेल्प लाईन 7049104445 पूर्व से संचालित है। नव गठित सायबर डेस्क सीधे नेशनल लेवल पर संचालित सायबर हेल्प लाईन 1930 पर शिकायत दर्ज कराई जाएगी।

साइबर अपराध के मामले शहर के तमाम थाना क्षेत्र में लगातार सामने आ रहे हैं और इन साइबर अपराधों की शिकायत साइबर क्राइम या फिर डीसीपी से की जा रही थी। थाने पर फरियादी पहुंचता है जहां पर सीधे तौर पर उन्हें साइबर क्राइम पहुंचाया जाता है, लेकिन लगातार बढ़ रही शिकायतों को ध्यान में रखते हुए डीसीपी अभिनव विश्वकर्मा द्वारा थाने स्तर पर साइबर हेल्प डेस्क का गठन किया गया।

अभिनव विश्वकर्मा, डीसीपी इंदौर ने बताया कि इस हेल्प डेस्क के माध्यम से थाने पर शिकायत दर्ज की जाएगी और एक पिन कोड भी जनरेट होगा जो कि सीधे फरियादी को दिया जाएगा। फरियादी ऑनलाइन तरीके से इस पिन कोड के माध्यम से शिकायत में कहां तक कार्रवाई की गई है, इसकी जानकारी ऑनलाइन रूप से देख सकेगा। वहीं, दूसरी ओर इस हेल्प डेस्क के माध्यम से साइबर क्राइम को रोकने के लिए जो हेल्प नंबर है, उन्हें तो वितरण किया ही जा रहा है साथ ही विशेष रूप से इस पूरी कार्रवाई को डीसीपी कार्यालय से निगरानी में रखा जाएगा ताकि फरियादियों के साइबर धोखाधड़ी के मामलों में कितनी कार्रवाई हुई है और कितनी बची है, इस पर नजर रखी जा सकेगी। यह प्रयोग बढ़ते साइबर अपराध के कारण पुलिस द्वारा किया गया है।

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