राजधानी की सड़कों पर उतरे प्रतीक्षा सूची में शामिल वर्ग- 1 शिक्षक…

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700 से ज्यादा शिक्षक उतरे सड़क पर, 20,000 पद बढ़ाने की मांग की

भोपाल। उच्च माध्यमिक शिक्षक (वर्ग-1) पात्रता परीक्षा 2023 की परीक्षा के प्रतीक्षा सूची में शामिल चयनित अभ्यर्थियों ने शिक्षकों की भर्ती में पदवृद्धि की मांग को लेकर 13 जून को भोपाल की सड़क पर प्रदर्शन किया। चयनित शिक्षकों की मांग है कि सरकारी स्कूलों में वर्ग-1 के जो पद खाली हैं, उनके विरुद्ध भर्तियां की जाए। उन्होंने उच्च माध्यमिक शिक्षक भर्ती 2023 में पदवृद्धि की मांग की, जिससे सरकारी स्कूलों में बच्चों को उच्च गुणवत्तायुक्त शिक्षा मिल सके।

700 से ज्यादा शिक्षकों ने निकाला पैदल मार्च

प्रदेशभर से 700 से अधिक चयनित शिक्षक नारेबाजी करते हुए बोर्ड आफिस चौराहे पर पहुंचे। इसके बाद संयुक्त मोर्चा (वेटिंग शिक्षक) के नेतृत्व में सुबह 10:30 बजे से दोपहर दो बजे के बीच भाजपा कार्यालय से लेकर लोक शिक्षण संचालनालय (डीपीआइ) तक पैदल मार्च निकाला। डीपीआइ पहुंचकर धरना-प्रदर्शन किया। यहां काफी संख्या में पुलिस बल मौजूद थे। आघा घंटा नारेबाजी करने के बाद पुलिस वालों ने चयनित शिक्षकों को गिरफ्तार कर लिया, जिन्हें बाद में छोड़ दिया गया। बताया गया कि सभी अनिश्चितकालीन प्रदर्शन करने के लिए राजधानी में जुटे थे, लेकिन 3:30 घंटे में ही यह आंदोलन खत्म हो गया। प्रदर्शन में शामिल महिला उम्मीदवार अपने साथ छोटे बच्चों को लेकर भी आई थीं।

करीब 34 हजार से अधिक पद खाली बताए जा रहे

चयनित शिक्षकों का कहना था कि सरकार ने 30जुलाई 2018 के राजपत्र में स्वीकार किया है कि वर्ग-1 के 34,789 पद खाली हैं, लेकिन इतने पदों पर भर्ती नहीं की जा रही है। इनकी जगह पर 30 हजार से अधिक अतिथि शिक्षक सरकारी स्कूलों में अध्यापन कार्य कर रहे हैं। इनकी जगह नियमित शिक्षकों की भर्ती की जानी चाहिए। सयुंक्त मोर्चा के नीरज द्विवेदी ने बताया कि हम लोग पात्रता परीक्षा पास कर चुके हैं, फिर भी हमें वेटिंग में रखा गया है, जबकि हजारों पद खाली हैं। ऐसे में अतिथि शिक्षकों की जगह नियमित शिक्षकों को मौका मिलना चाहिए।

शिक्षकों ने पद बढ़ाने की मांग

प्रदर्शनकारियों ने बताया कि वह 20,000 पद बढ़ाने की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि मध्य प्रदेश में शासकीय शिक्षकों के हजारों पद खाली पड़े हुए हैं। हम लोगों ने चयन परीक्षा पास कर ली है। अब सरकार के पास योग्य उम्मीदवार भी है। इसके बाद भी रिक्त पदों की संख्या में वृद्धि नहीं की जा रही है। यदि स्कूल शिक्षा विभाग एवं ट्राइबल डिपार्टमेंट रिक्त पदों की संख्या में वृद्धि कर देते हैं तो उन्हें दूसरी बार पात्रता परीक्षा और चयन परीक्षा की लंबी प्रक्रिया का आयोजन नहीं करना पड़ेगा। हमें भी दूसरी बार परीक्षा में शामिल होने की परेशानी से मुक्ति मिल जाएगी।

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